कुछ सफ़ाई पसंद लोगों को ये चेतावनी कि नौकरों से दिवाली की सफ़ाई कराते वक़्त इतनी सफ़ाई भी न करा लें कि बटुए, locker सब साफ़ हो जाएँ।
इल्तिजा एक, ढंग जुदा-जुदा
सरपरस्ती में उठे तो इबादत
मंदिर में जुड़े तो पूजा
शुभ दीपावली
कुछ सफ़ाई पसंद लोगों को ये चेतावनी कि नौकरों से दिवाली की सफ़ाई कराते वक़्त इतनी सफ़ाई भी न करा लें कि बटुए, locker सब साफ़ हो जाएँ।
इल्तिजा एक, ढंग जुदा-जुदा
सरपरस्ती में उठे तो इबादत
मंदिर में जुड़े तो पूजा
शुभ दीपावली
ghazal
हम दुआँ ये करें तुम मिलो हर जनम
संग बीते जो पल हमको लगते हैं कम
इल्तिजा में तेरी तेरे सर की क़सम
डोर मन्नत की कल जोड़ आए हैं हम
हम को पाने के भी कर लो कोई जतन
हो न मेरे वचन पड़ भी जाएँ न कम
डर कोई भी नहीं इस कड़ी के सिवा
हमसे बढ़ के तुम्हें माँग लेगा सनम
कोई जो छीन कर ले गया गर तुम्हें
जानेमन हम यहीं तोड़ दें अपना दम
ग़ज़ल
ये न पूछ तक़दीर में क्या लिखा है
जो मिला बड़े मतलब से मिला है
हमने ताउम्र ख़ैरात बाँटी है
हमसे हर शख़्स मक्सद से मिला है
हमें इसका न कोई रंज-ओ-गिला
जो मिला रब की नेमत से मिला है
उसकी आरजू क्या जो औरों को हासिल
क्या पल पल की शिकायत से मिला है
हमें वो मिला जिसके हम थे क़ाबिल
ये मत पूछ क्या मिला न मिला है
ये कोई करिश्मा या दुआ का असर
फर्द औरों से बेहतर ही मिला है
ये पर्व तीज का मुझपर कुछ ऐसा असर कर गई
तुम्हारे लिए व्रत रखा और मेरी भी उम्र बढ़ गई
Happy Teej in advance to all!